इंडिया अगेंस्ट करप्शन’ की अन्ना क्रांति से शुरू हुआ आंदोलन आज ‘केजरी-करप्शन-क्रांति’ में हो चुका है तब्दील: मनोरंजन कालिया

माननीय अदालत के फैसले से केजरीवाल हुए भ्रष्ट साबित, मुख्यमंत्री पद से दें तुरंत इस्तीफा: मनोरंजन कालिया

जालंधर 14 अप्रैल (EN) भारतीय जनता पार्टी जिला जालंधर के सभी भाजपा नेताओं ने एकस्वर में कहा कि माननीय उच्च न्यायालय ने दिल्ली मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल के संदर्भ में जो निर्णय दिया है,उससे स्वघोषित कट्टर ईमानदार अरविंद केजरीवाल का किरदार तथा अहंकार चकनाचूर हो गया है।माननीय न्यायलय ने तथ्यों के कठोर धरातल पर अपना फैसला सुनाया है। उन्होंने कहा कि अरविंद केजरीवाल ने पूरी दिल्ली को शर्मसार कर दिया है। इस विषय पर राष्ट्रीय कार्यकारिणी सदस्य व पूर्व मंत्री मनोरंजन कालिया ने प्रेस को संबोधित करते हुए कहा कि अरविंद केजरीवाल ने जिस प्रकार से जमानत के लिए नहीं,बल्कि अपने अहंकार में आकर अपनी हिरासत को ही उच्च न्यायलय में चुनौती दी थी,उस पर दिल्ली हाईकोर्ट ने उनकी याचिका को ख़ारिज कर दिया।केजरीवाल ने कहा कि मुझे छूट नहीं चाहिए, बल्कि दूसरों को गलत साबित करना है।यह अहंकार चूर-चूर हो गया है। केजरीवाल पर तंज कसते हुए मंनोरंजन कालिया ने कहा कि अरविंद केजरीवाल जमानत की मांग ना करके, गिरफ्तारी को ही गैर-कानूनी बता रहे थे। न्यायालय ने माना है कि ईडी द्वारा एकत्र की गई सामग्री से स्पष्ट पता चलता है कि केजरीवाल ने शराब घोटाले की साजिश और उत्पाद शुल्क नीति के निर्माण में शामिल थे तथा इससे प्राप्त अवांछित आय का इस्तेमाल अलग अलग राज्यों में हुए विधानसभा चुनाव में अपनी पार्टी के प्रचार-प्रसार में किया। उन्होंने कहा कि भारतीय जनता पार्टी बार-बार ये बातें कहती रही है और यह माननीय अदालत ने भी स्पष्ट कर दिया है। कोर्ट के फैसले के अनुसार प्रथम दृष्टया में केजरीवाल शराब घोटाले के नीति निर्धारण में मुख्य भूमिका निभा रहे थे और आम आदमी पार्टी के संयोजक के रूप में केजरीवाल शराब घोटाले अवांछित धन प्राप्त करने में भी मुख्य कर्ताधर्ता थे। मंनोरंजन कालिया ने कहा कि ने कहा कि माननीय न्यायालय ने एक और गंभीर ओब्जर्वेशन दिया है कि किसको जमानत दी गई या नहीं दी गई, इस पर टिप्पणी करना सीधे तौर पर न्यायपालिका तथा देश के संविधान पर टिप्पणी करने के सामान है। देखा जाए तो इसी आधार पर शराब घोटाले के आरोपी संजय सिंह को जमानत मिली है। राजनीतिक आधार पर न्यायलय पर समीक्षा, आक्षेप और कटाक्ष नहीं कर सकते। न्यायालय के आदेश का जिक्र करते हुए उन्होंने कहा कि कोर्ट ने स्पष्ट कहा है कि किसने टिकट लिया और किसे इलेक्टोरल बॉन्ड दिया गया, इस विषय का न्यायालय की प्रक्रिया से कोई लेना देना नहीं है। कानूनी विषय को राजनैतिक विषय बताने का प्रयास करने वालों पर न्यायालय की ये टिप्पणी एक जोरदार तमाचा है। आरोपी को जांच एजेंसी की प्रक्रिया पर सवाल करने का कोई अधिकार नहीं है। न्यायालय का कहना है कि आप मुख्यमंत्री और आम आदमी पार्टी के लिए नियम अलग नहीं है। यह दर्शाता है कि ‘नाम तो आम, और चाहते हैं कि डील की जाए दीवाने खास की तरह, जिसे कोर्ट द्वारा पूरी तरीके से खारिज कर दिया गया है।ने कहा कि अब चवन्नी नहीं उनके पास से करोड़ों का ट्रेल मिल रहा है। अन्ना हजारे के ‘इंडिया अगेंस्ट करप्शन’ की अन्ना क्रांति से शुरू हुआ आंदोलन आज ‘केजरी-करप्शन-क्रांति’ में तब्दील हो गया है। नई राजनीति के प्रयोग का छलावरण लेकर आने वाले लोगों की अंदरूनी हकीकत क्या होती है, यह आज स्पष्ट हो गया है।इस अवसर पर प्रदेश उपाध्यक्ष राकेश राठौर और केडी भंडारी,जिला महामंत्री अशोक सरीन हिक्की,पूर्व भाजपा जिलाध्यक्ष रमन पब्बी और सुभाष सूद,भगवंत प्रभाकर आदि उपस्थित थे।

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