श्री गुरु रविदास महाराज जी का 647वां प्रकाश उत्सव 24 फरवरी को श्रद्धा और भक्ति के साथ मनाया जाएगा। इसमें भाग लेने के लिए दुनिया भर की संगत पंजाब और बनारस पहुंचती है। बनारस में गुरु महाराज के जन्म स्थान में मुख्य पर्व होता है। जालंधर में भी शोभायात्रा निकलती है और फिर डेरा सचखंड बल्लां और बूटा मंडी में तीन दिन समारोह होता है। इस साल 23 फरवरी को शोभायात्रा है। मुख्य पर्व 24 फरवरी को है। जालंधर के डेरा सचखंड बल्लां में लाखों श्रद्धालु माथा टेकने आते हैं। तो यहां से भी बनारस (काशी) के लिए विशेष ट्रेन जाती है।
इसके अलावा हजारों गाड़ियों से भी संगत वहां जाती है। सबसे बड़ा सवाल यह है कि क्या इस साल संगत के लिए बनारस जाना आसान रहेगा। इस साल पंजाबहरियाणा के शंभू और खनौरी बार्डर पर किसान आंदोलन के कारण पैदा हुई परिस्थिति के कारण रास्ता बंद है। ऐसे में सवाल है कि संगत कैसे बनारस जाएगी और बाहर के श्रद्धालु जालंधर कैसे आएंगे? डेरा सचखंड बल्लां की ओर से जालंधर से बनारस के लिए विशेष ट्रेन 21 फरवरी को जाएगी। किसानों ने कहा है कि वे ट्रेनों को नहीं रोकेंगे लेकिन ट्रेन से तो कुछ सौ श्रद्धालु ही जा पाते हैं।
बाकी हजारों श्रद्धालु अपनी गाड़ियों या बसों से वहां माथा टेकने जाते हैं। इस बार सबसे ज्यादा मुसीबत पंजाब सीमा पार करने में होने वाली है। शंभू और खनौरी बार्डर पर किसानों की मौजूदगी और बैरीकेड से जाम लगा होने के कारण श्रद्धालुओं के सामने मुसीबतें खड़ी होने वाली हैं।